
Tanuja Bora: Doordarshan: हल्द्वानी की युवा कथक नर्तकी तनुजा बोरा ने अपनी मेहनत, प्रतिभा और नृत्य के प्रति गहरे समर्पण के बल पर दूरदर्शन बी-ग्रेड आर्टिस्ट पैनल में स्थान प्राप्त कर हल्द्वानी और उत्तराखंड का नाम रोशन किया है।
तनुजा ने अपने नृत्य-सफ़र की शुरुआत स्वर संगम संगीत संस्थान, हल्द्वानी से की, जहाँ उन्हें डॉ. मुकेश पंत और सुश्री रेनू तिवारी का मार्गदर्शन मिला। इसके बाद उन्होंने भातखंडे संगीत विश्वविद्यालय, लखनऊ से परफॉर्मिंग आर्ट्स (कथक) में एम.पी.ए. की उपाधि डिस्टिंक्शन के साथ प्राप्त की। अपने उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए उन्हें रजत और कांस्य पदक के साथ-साथ उत्तर प्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदी बेन पटेल द्वारा प्रशस्ति पत्र भी प्रदान किया गया।
एम.पी.ए. के बाद तनुजा ने यूजीसी-नेट परीक्षा उत्तीर्ण की और वर्तमान में महात्मा ज्योतिबा फुले रोहिलखंड विश्वविद्यालय, बरेली से परफॉर्मिंग आर्ट्स में पीएच.डी. कर रही हैं। इसके साथ ही वे दिल्ली स्थित गौरी दिवाकर संस्कृत फाउंडेशन (Sarvatra Nrityam) में प्रसिद्ध कथक नृत्यांगना गौरी दिवाकर के निर्देशन में उन्नत प्रशिक्षण प्राप्त कर रही हैं।
तनुजा बोरा ने देशभर के अनेक प्रतिष्ठित मंचों पर अपनी प्रस्तुतियों से दर्शकों को मंत्रमुग्ध किया है। इनमें भारत मंडपम (WTSA-24, नई दिल्ली), कबीर उत्सव (श्रीराम सेंटर, मंडी हाउस), ग्रामीण भारत महोत्सव (NABARD) तथा 38वें राष्ट्रीय खेल, देहरादून जैसे मंच शामिल हैं, जहाँ उन्होंने प्रधानमंत्री और उत्तराखंड के मुख्यमंत्री के समक्ष भी अपनी प्रस्तुति दी।
दूरदर्शन बी-ग्रेड आर्टिस्ट पैनल में उनका चयन कथक नृत्य के प्रति अनुशासन, समर्पण और गहरे लगाव का परिणाम है। तनुजा की इस उपलब्धि से हल्द्वानी और समूचे उत्तराखंड के कला-जगत में हर्ष और गर्व का वातावरण है।
“कला मेरे लिए साधना है, और यह उपलब्धि मेरे गुरुओं और परिवार के आशीर्वाद का परिणाम है,” — तनुजा बोरा






