देहरादूनः देवभूमि व वीरभूमि के रूप में दुनियाभर में पहचान रखने वाले उत्तराखण्ड को सैन्यधाम बनाने की दिशा में ऐतिहासिक पहल शुरू हो गई है। शुक्रवार यानी आज देहरादून के कुंआवाला (हर्रावाला) में कोस्टगार्ड के भर्ती केंद्र का शिलान्यास हो गया है। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत इसका शिलान्यास करा। हाल ही में डीजी कोस्टगार्ड राजेन्द्र सिंह ने मुख्यमंत्री से भेंट कर इसका अनुमति पत्र सौंपा था।
भारतीय तटरक्षक के महानिदेशक राजेंद्र सिंह का कहना है कि प्रति छह माह में करीब 40000 युवा यहां भर्ती के लिए आएंगे। जिसमें से डेढ़ से दो हजार युवाओं को रोजगार मिल सकेगा।
उत्तराखण्ड में देश के लिए बलिदान होने की लम्बी परम्परा रही है। यहां औसतन हर परिवार में एक व्यक्ति सेना में भर्ती होकर देश सेवा के लिए समर्पित है। देश के लिए अपना सर्वस्व त्याग करने का जज्बा, यहां के हर युवा को सेना में भर्ती होने को प्रेरित करता है। उत्तराखण्ड के युवाओं के इसी जज्बे को नमन करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राज्य को सैन्यधाम बनाए जाने की बात कही थी। सैन्यधाम के संकल्प को साकार करने में बहुत बड़ी पहल कोस्टगार्ड भर्ती केंद्र की स्थापना द्वारा की गई है। यह भर्ती सेंटर कुंआवाला (हर्रावाला) देहरादून में बनाया जाऐगा।
देहरादून में कोस्टगार्ड भर्ती सेंटर के लिए भारत सरकार से 17 करोड़ रूपये भूमि के लिए व 25 करोड़ रूपये भवन निर्माण के लिए स्वीकृति मिली है। इस भर्ती केन्द्र का पूरा खर्च भारत सरकार वहन करेगी। लगभग डेढ़ साल में यह भर्ती केन्द्र बनकर तैयार हो जायेगा। इससे राज्य के युवाओं के लिए देश सेवा की अपनी प्रकृति के अनुरूप कोस्टगार्ड में रोजगार के अच्छे अवसर मिलेंगे। उत्तराखण्ड का युवा देश की समुद्री सीमाओं की रक्षा में भी अपना योगदान दे सकेगा।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत का कहना है कि ‘‘उत्तराखण्ड में कोस्टगार्ड भर्ती सेंटर खुलने से यहां के युवाओं को कोस्टगार्ड में रोजगार के अच्छे अवसर मिलेंगे. उत्तराखण्ड सैन्य प्रदेश है। प्रधानमंत्री जी ने उत्तराखण्ड को सैन्य धाम के रूप में विकसित करने का संकल्प लिया है। यह उत्तराखण्ड का सौभाग्य है कि कोस्टगार्ड भर्ती केन्द्र उत्तराखण्ड में बन रहा है।