हल्द्वानी: बुधवार को हुई बारिश ने क्षेत्रवासियों को गर्मी व उमस से राहत तो दी लेकिन बाहर ना निकलने की चेतावनी भी दी। शहर की अधिकतर सड़के पानी के कारण नहर में तब्दील हो गई। इससे यातायात में काफी परेशानी हुई। सड़कों का पानी दुकानों के अंदर भी घुसा और शायद पहली बार हल्द्वानी कुछ तरह की दिखी।
हल्द्वानी शहर को कुमाऊं का द्वार कहा जाता है लेकिन पूर्ण निकासी व्यवस्था ना होने ने नगरनिगम की कार्यशैली पर सवाल उठाए हैं। कालाढूंगी रोड और स्टेडियम सालों से इस दर्द के साथ जी रही है लेकिन बुधवार को नैनीताल-काठगोदाम रोड भी इसकी चपेट में आ गई। एक वीडियो नैनीताल रोड से सामने आया है जहां बाइक में जा रहे दो लोग बाल-बाल बहने से बचे। बारिश आएगी तो मुश्किले आएगी, हर बार निगम बहाना नहीं बना सकता है। उसे इस तरह की हालात से लड़ने के लिए निकासी सिस्टम को मजबूत करना पड़ेगा।
वहीं पहाड़ी क्षेत्रों ( भीमताल-हल्द्वानी मार्ग ) में भी मलवे के मुख्य मार्ग में आने से कुछ देर के लिए यातायात को रोका गया। PDW ने जेसीबी लगाकर मलवे को हटवाया और उसके बाद ही यातायात सुचारू हो सका। भीमताल में बुधवार की सायं छह बजे के करीब भारी बारिश शुरू हो गई। सात बजे बोहराकून में पहाड़ी से मलबा आ गया। लोनिवि के सहायक अभियंता बीसी जोशी ने बताया कि मलबा आने से मार्ग एक घंटा बाधित रहा। इससे सड़क के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतार लग गई और यात्रियों की भी फजीहत हुई। सूचना पर अपर सहायक अभियंता कमल किशोर पाठक जेसीबी मशीन के साथ मौके पर पहुंचे और मलबा हटाने का कार्य शुरू किया। श्रीपाठक ने बताया कि साढ़े आठ बजे तक मार्ग का मलबा पूरी तरह साफ कर यातायात पूर्ण रूप से सुचारु कर दिया गया है।