जीवन के लिए पानी अनमोल है किसी दशा में पानी की बर्बादी नही होनी चाहिए बर्बाद हो रहे पानी का उपयोग किया जाना चाहिए। इसी विषय पर डीएम सविन बंसल काफी गंभीर रहे हैं। अपना पद संभालने के बाद से ही उन्होंने जल संरक्षण को काफी महत्व दिया है। इसके चलते बाहर के वैज्ञानिकों ने नैनीताल का दौरा किया था और झील के जल की गुणवत्ता का टेस्ट भी किया था।
डीएम सविन बंसल ने महानगर की पेयजल समीक्षा को मद्देनजर फरवरी में शीतलाहाट गधेरे का जल संस्थान के अधिकारियों के साथ निरीक्षण किया था और पाया कि उचित पेयजल लाइन ना होने के कारण गधेरे का अधिकांश पानी बरसात के दौरान ओवरप्लो होकर गौला मे समा जाता है।
पानी को बचाने के लिए उन्होंने नया प्लान बनाया है। इस पानी की यदि टेपिंग कर दी जाए और किसी तरह यह पानी शीतलाहाट फिल्टर प्लांट तक पहुंचा दिया जाए तो बर्बाद होने वाला यह पानी शहर के लोगों के काम आ सकता है। डीएम ने जलसंस्थान के अधिकारियों से गधेरे से लेकर प्लांट तक नई पाइप लाइन बिछाने के आदेश दिये और उन्होंने खनन न्यास निधि से 20 लाख की धनराशि मौके पर ही स्वीकृत भी की थी।
जिसका परिणाम यह हुआ कि जल संस्थान द्वारा सम्बन्घित क्षेत्र मे पाइप लाइन बिछाने का कार्य शुरू कर दिया है। इससे यह होगा कि बरसात के मौसम में शीतलाहाट गधेरे के पानी की बर्बादी नही होगी और पानी प्लांट तक पहुंच जायेगा जो कि फिल्टर होने के बाद जलसंस्थान द्वारा शहर के लोगों को फिल्टर करने के उपरान्त उपलब्ध कराया जायेगा।