नैनीताल: कुमाऊं विश्वविद्यालय में परीक्षाओं के शुरू होने के साथ ही एक विवाद सामने आ गया है। हाल ही में विवि ने वार्षिक, सेमेस्टर व बैक परीक्षाओं का आयोजन कराना शुरू किया है। अब बुधवार को जब स्नातक प्रतण वर्ष के पेपर देने पहुंचे तो उनसे कुछ लिखा ही नहीं गया। ऐसा इसलिए क्योंकि विवि ने पेपर ऑउट ऑफ सिलेबस सेट कर दिया था।
जी हां, पेपर से पहले सिलेबस दिया जाता है। जिसके हिसाब से ही एग्जाम पेपर को तैयार किया जाता है। लेकिन कुमाऊं विश्वविद्यालय ने ना जाने क्या सोचा और पूरा पेपर ही ऑउट ऑफ सिलेबस दे दिया। ये बुधवार की बात है जब सुबह आठ बजे स्नातक प्रथम वर्ष के छात्र-छात्राएं अपना हिंदी साहित्य द्वितीय का पेपर देने केंद्रों पर पहुंचे।
छात्रों ने बड़े ही उत्साह के साथ लिखना शुरू किया तो सारे सवाल उनके सिर के ऊपर से निकल गए। पेपर ऑउट ऑफ सिलेबस देखकर सभी परेशान हो गए। जब इसकी शिकायत परीक्षा केंद्र पर मौजूद अधीक्षकों से की तो उन्होंने भी पेपर ऑउट ऑफ कोर्स होने की बात स्वीकारी। ऐसे में अब विवि द्वारा पेपर को ही निरस्त कर दिया गया है।
जानकारी के मुताबिक विवि द्वारा सेट किया गया उक्त पेपर हर परीक्षा केंद्र पर बांटा गया था। बताया जा रहा है कि इस दौरान कुछ छात्राएं तो पेपर देख कर रोने भी लगीं। हर केंद्र से एक-एक कर शिकायत विवि तक आ पहुंची। जांच में पाया गया कि पेपर वास्तव में पाठ्यक्रम से बाहर के सवाल शामिल थे। बाद में पेपर निरस्त किया गया।
सहायक परीक्षा नियंत्रक डॉ रितेश साह ने जानकारी दी और कहा कि पेपर निरस्त कर दिया गया है। बहुत जल्द दोबारा से इसे कराया जाएगा। जिसकी तिथी आगामी दिनों में घोषित की जाएगी। गौरतलब है कि विवि की एक गलती ने छात्रों को रोने तक पर मजबूर कर दिया। अब 40 परीक्षा केंद्रों पर दो हजार छात्रों को फिर से परीक्षा देनी होगी। उम्मीद है कि इस बार विवि इस तरह की गलती नहीं करेगा।