देश में कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए सरकार ने लॉकडाउन को 31 मई तक बढ़ा दिया है। गृह मंत्रालय ने लॉकडाउन 4.0 के लिए गाइडलाइन्स जारी कर दी हैं। कोरोना वायरस के कारण लागू राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन 4 सोमवार से शुरू होगा। लॉकडाउन 4 में लोगों को पिछले बार से ज्यादा छूट दी जा रही है लेकिन वह राज्य सरकार पर निर्भर रहने वाला है। भारत में सभी तरह की घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय विमान यात्राएं बंद रहेंगी लेकिन घरेलू मेडिकल सेवाओं, घरेलू एयर एंबुलेंस को छूट रहेगी।
देश भर में सभी जोन में शाम 7 बजे से सुबह 7 बजे तक लोगों को घरों से बाहर निकलने की इजाजत नहीं होगी। स्थानीय प्रशासन अपने अधिकार में आने वाले क्षेत्रों के लिए इसे लेकर कानून के प्रावधानों के अनुसार आदेश जारी करेगा। सभी 65 साल से ज्यादा उम्र वाले लोगों या जिन्हें पहले से कोई बीमारी है, गर्भवती महिलाओं और 10 साल के कम उम्र के बच्चों को जरूरी काम या स्वास्थ्य संबंधी कारणों के अलावा घर में रहने को कहा गया है।
ये सेवाएं बंद रहेंगी
मेट्रो रेल सेवाओं पर रोक जारी रहेगी। इसके अलावा स्कूल, कॉलेज, सभी प्रकार के शैक्षणिक संस्थान भी बंद रहेंगे लेकिन ऑनलाइन पढ़ाई जारी रह सकती है। होटल, रेस्त्रां, सिनेमा हॉल, शॉपिंग मॉल्स, जिम, स्विमिंग पूल, मनोरंजन पार्क, थियेटर, बार और ऑडिटोरियम नहीं खुलेंगे।स्पोर्ट्स कॉम्पलेक्स खोले जा सकेंगे लेकिन दर्शकों की एंट्री नहीं होगी। सभी सामाजिक, राजनैतिक, खेल, मनोरंजन, शैक्षणिक, सांस्कृतिक, धार्मिक आयोजनों पर पूरी तरह से रोक जारी रहेगी। सभी सार्वजनिक धार्मिक स्थान फिलहाल बंद रहेंगे। कंटेनमेंट जोन में सख्ती लागू रहेगी। केवल जरूरी सामानों की दुकानें खुलेंगी और ई-कॉमर्स की सेवा लोगों को मिलेगी।
कंटेनमेंट जोन छोड़कर यात्री गाड़ियों और बसों से अंतरराज्यीय यात्राएं कर सकेंगे लेकिन उन्हें प्रशासन से अनुमति लेनी होगी। राज्यों और केंद्रशासित प्रदेश का राज्य के अंदर यातायात शुरू किया जा सकता है। लोगों की गतिविधियों के लिए स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसीजर (SOP) तय किए गये हैं।
कोरोना वायरस के मामलों के आधार पर क्षेत्रों को रेड, ग्रीन और ऑरेंज और कंटेनमेंट जोन कैसे बांचे जाएंगे ये फैसला राज्य सरकारें और केंद्र प्रशासित प्रदेश पर छोड़ा गया है। ये सभी फैसले स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी की गई गाइडलाइन के आधार पर किए जाएंगे। रेड और ऑरेंज जोन में जिला प्रशासन कंटेनमेंट और बफर जोन निर्धारित करेगा। कंटेनमेंट जोन में बड़े स्तर पर कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग की जाएगी, घर घर जाकर जांच की जाएगी