चंपावत: कठिन से कठिन परीक्षाओं के परिणामों में पहाड़ के बच्चों का नाम हमेशा होता है। इसके पीछे का सबसे बड़ा कारण संस्कार हैं। पहाड़ के बच्चों ने अपने माता-पिता को हमेशा मेहनत करते देखा होता है और इसलिए वे मेहनत से पीछे नहीं हटते। इसी जज्बे के साथ अब लोहाघाट के गांव की संगीता बिष्ट ने नेट जेआरएफ की परीक्षा उत्तीर्ण कर नाम रौशन किया है। संगीता को ऑल इंडिया में तीसरा स्थान मिला है।
संगीता बिष्ट ने मनोविज्ञान विषय से नेट जेआरएफ की परीक्षा उत्तीर्ण की है। आपको बता दें कि ये परीक्षा कठिनतम परीक्षाओं की श्रेणी में गिनी जाती है। इस परीक्षा का परिणाम कुछ दिनों पहले ही जारी किया गया था। जानकारी के अनुसार संगीता बिष्ट मूल रूप से चंपावत के लोहाघाट के राइकोट ग्राम सभा की निवासी हैं। संगीता बिष्ट की उपलब्धि की खास बात यह है कि उन्होंने केवल परीक्षा पास ही नहीं की बल्कि पूरे देश में तीसरी रैंक भी हासिल की है।
उल्लेखनीय है कि केंद्रीय विद्यालय लोहाघाट से प्रारंभिक शिक्षा ग्रहण करने वाली संगीता बिष्ट ने दिल्ली विश्वविद्यालय से ग्रेजुएशन पूरा किया है। वर्तमान में वह मद्रास यूनिवर्सिटी में चौथे सेमेस्टर की छात्रा हैं। बता दें कि संगीता ने बिना किसी कोचिंग के यह मुकाम पाया है। संगीता के पिता मोहन सिंह बिष्ट जहां पूर्व सैनिक है तो वहीं उनकी मां विमला देवी एक कुशल गृहिणी हैं।
संगीता के परिवार का कहना है कि वह हमेशा ने पढ़ने लिखने में निपुण रही हैं। बेटी ने अपनी इस अभूतपूर्व उपलब्धि का श्रेय अपने माता-पिता एवं गुरूजनों को दिया है। इस उपलब्धि पर संगीता ने बताया कि उनका लक्ष्य भविष्य में सिविल सर्विसेज परीक्षा उत्तीर्ण कर आम जनमानस की सेवा करना है। हल्द्वानी लाइव की पूरी टीम की तरफ से संगीता बिष्ट को हार्दिक शुभकामनाएं।