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उत्तराखंड के पुरोला में एसडीएम ने की विधायक की शिकायत तो हो गया तबादला


पुरोला: ऐसा कई बार देखने को मिला है कि अधिकारी के ट्रांसफर के पीछे एक कहानी निकल कर आई है। इस बार पुरोला में भी ऐसा ही मामला सामने आया है। जहां पर एक एसडीएम ने विधायक के खिलाफ शिकायत की तो तत्काल प्रभाव से उसका स्थानांतरण कर दिया गया। बता दें कि पुरोला से भाजपा के विधायक दुर्गेश्वर लाल के खिलाफ शिकायत करना एसडीएम सोहन सिंह सैनी को भारी पड़ गया।

पुरोला के उपजिलाधिकारी सोहन सिंह सैनी ने भाजपा विधायक दुर्गेश्वर लाल के खिलाफ पुलिस में शिकायत की थी। उन्होंने तहरीर में विधायक से खुद को जान का खतरा बताया था और 21 मई को नगर पंचायत पुरोला द्वारा निकाय क्षेत्र अंतर्गत अवैध अतिक्रमण हटवाने को इसका कारण बताया था। एसडीएम ने बताया कि विधायक ने उन्हें रात लगभग 10:00 बजे विश्राम गृह में बुलाया था।

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लेकिन रात ज्यादा हो जाने के कारण एसडीएम ने आने से मना कर दिया। एसडीम का कहना है कि उन्हें इस बात का अंदेशा था कि विधायक और उनके राजनीतिक मित्र किसी प्रकार की बदतमीजी कर सकते हैं। अगली सुबह विधायक ने मुख्य बाजार में मिलने के लिए बुलाया। जहां जाने के बाद एसडीएम के खिलाफ विधायक दुर्गेश्वर लाल और उनके समर्थकों ने नारेबाजी की और अभद्र भाषा का प्रयोग किया।

एसडीएम का कहना है कि दुर्गेश्वर लाल बार-बार अपनी विधायकी की धौंस दिखाते हैं अथवा कार्यालय में अवैध कार्य करवाने का अनावश्यक दबाव भी बनाते रहते हैं। एसडीएम ने आरोप लगाया कि पूर्व में भी जिलाधिकारी आवास और पूर्ववर्ती अधिकारियों के साथ कई तरह की घटनाएं हो चुकी हैं। ऐसे में मुझे भी कई सारी धमकियां मिल रही थी। उन्होंने कहा कि अगर आगे ऐसा कुछ होता है तो उसकी पूरी जिम्मेदारी पूर्व विधायक दुर्गेश्वर लाल की होगी।

हालांकि विधायक दुर्गेश्वर लाल का कहना है कि शनिवार को एसडीएम बिना बताए सरकारी वाहन लेकर अपने घर जा रहे थे। ऐसे में जब मेरे संज्ञान में ही मामला आया तो एसडीएम को आधे रास्ते से वापस लौटना पड़ा। उन्होंने अपनी बात को छुपाने के लिए ऐसे आरोप लगाए हैं। गौरतलब है कि अब शासन ने पूर्व एसडीएम को तत्काल प्रभाव से हटा दिया है। साथ ही उन्हें गढ़वाल आयुक्त पौड़ी कार्यालय में अटैच कर दिया गया है।

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