नई दिल्ली: विश्वकप खत्म हो गया है लेकिन वो फिर भी सुर्खियों में है। फाइनल मुकाबले में जो हुआ वो इंटरनेशनल क्रिकेट में कभी नहीं हुआ था। विजेता का चयन बाउंड्री के आधार पर करने पड़ा । इंग्लैंड पहली बार विश्वकप जीतने में कामयाब रहा लेकिन न्यूजीलैंड ने पूरी दुनिया का दिल जीता। भारत सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड के हाथों हार कर विश्वकप से बाहर हुआ लेकिन अभी भी विश्वकप की खबरें अपनी ओर खींच रही है। ताजा खबर सचिन तेंदुलकर से जुड़ी है। सचिन ने अपनी फेवरेट टीम में महेंद्र सिंह धोनी का चयन नहीं किया जो सभी दर्शकों को चौका रहा है। वहीं उन्होंने कप्तानी विराट कोहली के बजाए केन विलियमसन को टीम का कप्तान बनाया है।
सचिन की टीम में पांच भारतीय खिलाड़ियों को जगह दी गई है। सचिन ने अपनी टीम में ओपनिंग बल्लेबाजी की जिम्मेदारी रोहित शर्मा व जोस बटलर को दिया है। इसके बाद केन विलियमसन और विराट कोहली का नंबर आता है। सचिन ने इस टीम में चार ऑलराउंडर्स को शामिल किया है। इसमें शाकिब अल हसन, बेन स्टोक्स, हार्दिक पांडया और रवींद्र जडेजा शामिल हैं। टीम में तीन तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह, मिचेल स्टार्क व जोफ्रा आर्चर का शामिल किया गया है। सचिन ने धोनी को अपनी टीम में नहीं लिया और फैंस इससे निराश दिखे, उन्होंने इस बारे में सोशल मीडिया पर भी पोस्ट किए है। बता दे कि साल 2011 में भारतीय टीम ने धोनी की कप्तानी में ही विश्वकप जीता था और सचिन उस टीम के सदस्य थे।
धोनी का प्रदर्शन विश्वकप में औसतन रहा था लेकिन उनकी धीमी बल्लेबाजी निशाने पर रही। धोनी की सबसे ज्यादा आलोचन ज्यादातर मैचों में उनकी धीमी बल्लेबाजी की लिए की गई। विश्व विजेता पूर्व कप्तान धोनी फिनिशर के तौर पर उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं कर पाए थे और ऐसा लगा रहा था कि उम्र उन पर हावी हो गई है। सचिन ने भी अफगानिस्तान के खिलाफ खेली धोनी की धीमी पारी की आलोचना की थी और कहा था कि उन्हें थोड़ा और तेज खेलना चाहिए था। वहीं इंग्लैंड के खिलाफ भी धोनी फिनिशर की भूमिका नहीं निभा पाए थे।