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उत्तराखंड सरकार का बड़ा फैसला, बिना परीक्षा दिए पास होंगे 10वीं के छात्र


हल्द्वानी: कोरोना वायरस के चलते उत्तराखंड सरकार ने राज्य बोर्ड की हाईस्कूल परीक्षाओं को निरस्त करने का फैसला किया है। जबकि इंटर की परीक्षाओं को स्थगित किया गया है। सीबीएसई, आईसीएसई और कई राज्यों की परीक्षाएं स्थगित होने के बाद अब उत्तराखंड में बड़ा फैसला लिया गया है। उत्तराखंड बोर्ड परीक्षाएं 4 मई से शुरू होने वाली थी लेकिन कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप के चलते अब वह नहीं हो पाएंगी।

इस बारे में शिक्षा मंत्री अरविंद ने बताया है कि उत्तराखंड बोर्ड की दसवीं की परीक्षा को निरस्त कर दिया गया है। वहीं इंटरमीडिएट की परीक्षा स्थगित कर दी गई है। यह फैसला कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए लिया गया है। सरकार बच्चों को पूरी तरह से सुरक्षित रखने पर जोर दे रही है। उत्तराखंड बोर्ड की 10 वीं और 12 वीं की परीक्षा में दो लाख 70 हजार से अधिक परीक्षार्थी पंजीकृत हैं। इसमें 10 वीं में 148355 एवं 12 वीं में 122184 परीक्षार्थी पंजीकृत हैं। शिक्षा विभाग की ओर से इनकी परीक्षा के लिए प्रदेश भर में 1347 परीक्षा केंद्र बनाए गए हैं।

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बता दें कि इस संबंध में मुख्य सचिव को प्रस्ताव भेजा गया था। शिक्षा मंत्री और फिर मुख्यमंत्री के स्तर से इस पर अंतिम निर्णय लिया गया। शिक्षा सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम के बताया कि सीबीएसई की तरह इन परीक्षाओं को निरस्त एवं स्थगित करने की सिफारिश की गई थी। इस फैसले के बाद 10वीं के बच्चों को पिछले परर्फोरमेंस के आधार पर पास किया जाएगा। जबकि 12 वीं के छात्रों की परीक्षा के लिए स्थिति कुछ सामान्य होने के बाद परीक्षा का आयोजन होगा।

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