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उत्तराखंड अवैध असलहा रखने में पहाड़ी राज्यों में नंबर वन, जानिए देश में कौन से नंबर पर है

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देहरादून: उत्तराखंड शांत पहाड़ों और प्राकृतिक सौंदर्य के लिए भले ही जाना जाता हो, लेकिन नेशनल क्राइम रिकॉर्ड्स ब्यूरो (NCRB) की ताज़ा रिपोर्ट 2023 में राज्य की एक और गंभीर तस्वीर सामने आई है। रिपोर्ट के मुताबिक उत्तराखंड अवैध असलहा रखने के मामलों में हिमालयी राज्यों में पहले और पूरे देश में सातवें स्थान पर आ गया है।

वर्ष 2023 में उत्तराखंड में 1767 लोगों के खिलाफ शस्त्र अधिनियम के तहत मुकदमे दर्ज हुए, जिनमें से 1184 लोग अवैध और 4 वैध असलहों के साथ पकड़े गए। विशेषज्ञ मानते हैं कि अब असलहा रखना केवल सुरक्षा का साधन नहीं बल्कि “शौक” और “स्टेटस सिंबल” बनता जा रहा है।

इंटरनेट पर असलहों की नुमाइश, ऊधमसिंह नगर और हरिद्वार सबसे आगे

उत्तराखंड में असलहों को लेकर एक और खतरनाक प्रवृत्ति सामने आ रही है…सोशल मीडिया पर हथियारों की नुमाइश। खासतौर पर ऊधमसिंह नगर और हरिद्वार जैसे जिलों में छोटी-छोटी बातों पर असलहों का प्रयोग आम होता जा रहा है। किसी को डराना हो, रौब दिखाना हो या विवाद सुलझाना हो….गोलीबारी जैसे अपराध सामान्य होते जा रहे हैं।

हालांकि पुलिस की सतर्कता के चलते वर्ष 2023 में 1767 मुकदमे दर्ज हुए और सैकड़ों असलहे जब्त किए गए। लेकिन चिंताजनक बात यह है कि इनमें से अधिकतर अवैध हथियार आपराधिक घटनाओं में प्रयोग किए गए…खासतौर पर हत्या और जान से मारने की कोशिशों में।

अपराधों में बढ़ोतरी, चार्जशीट की रफ्तार धीमी

NCRB रिपोर्ट यह भी दर्शाती है कि उत्तराखंड में हिंसक अपराध जैसे हत्या, लूट और अपहरण के मामलों में भी वृद्धि हुई है:

2021: 3162 मामले

2022: 3923 मामले

2023: 3570 मामले

लेकिन सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि वर्ष 2023 में पुलिस ने महज 58% मामलों में ही कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की…जिससे बाकी मामलों की जांच और न्याय में देरी की आशंका बनी हुई है।

तराई में फलफूल रहा अवैध असलहों का कारोबार

ऊधमसिंह नगर जिला, जो पहले से ही अपराध के लिहाज से संवेदनशील माना जाता है, वहां तराई के जंगलों में कई बार अवैध हथियार फैक्ट्रियां पकड़ी गई हैं। एसटीएफ और स्थानीय पुलिस ने छापेमारी कर कई बार ऐसे कारखानों का भंडाफोड़ किया है। इतना ही नहीं राज्य के पड़ोसी उत्तर प्रदेश के सीमावर्ती क्षेत्रों से भी असलहों की तस्करी हो रही है…जो स्थानीय अपराधियों के हाथों तक पहुंच जाती है।

अन्य हिमालयी राज्यों की तुलना में उत्तराखंड काफी आगे

राज्यशस्त्र अधिनियम के केसबरामद अवैध असलहे
उत्तराखंड17641184
पश्चिम बंगाल13491337
हिमाचल प्रदेश2404
मणिपुर8981
नागालैंड7473
अरुणाचल प्रदेश1510
मिजोरम2925
त्रिपुरा0605
मेघालय0906

NCRB रिपोर्ट 2023)


पुलिस का सख्त संदेश: अपराधियों को नहीं मिलेगी कोई राहत

उत्तराखंड पुलिस प्रवक्ता डॉ. नीलेश आनंद भरणे ने साफ कहा है कि राज्य में अवैध असलहों के खिलाफ अभियान लगातार जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में गुंडागर्दी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। अपराधी चाहे जो भी हो…सलाखों के पीछे रहेगा।

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