Forest fire in Uttarakhand:- उत्तराखंड में गर्मियों का मौसम आते ही वनाग्नि का मुद्दा जोर पकड़ने लगता है। कुमाऊं और गढ़वाल के पहाड़ों में चीड़ के जंगलों में लगने वाली इस आग से केवल जंगल ही नहीं बल्कि इंसानी जीवन भी अस्त-व्यस्त हो जाता है। हर साल की तरह इस साल भी पर्वतीय क्षेत्रों में आग की घटनाएं रुकने की जगह बढ़ती जा रही है।
शुक्रवार को कुमाऊं के नैनीताल जिले में सात आप अलग जगहों पर वनाग्नि की घटनाएं सामने आई है। प्रदेश में अलग-अलग वनाग्नि के मामलों से लगभग 75.57 हेक्टेयर जंगल धधक उठा।
धारी के पदमपुरी में उठी आग की लपटें
शुक्रवार की शाम धारी के पदमपुरी से लगे जंगलों में आग का भीषण मंजर देखने को मिला। आग इतनी भयावह थी कि आग की लपटों से क्षेत्र के जंगल के पेड़ पौधे जलकर नष्ट हो गए। आग को बढ़ता देख ग्रामीण भी रात भर सहमे हुए नजर आए। सड़क तक फैली आग की लपटों के कारण पेड़ पौधों और वन्यजीवों को काफी नुकसान पहुंचा है। बताते चलें कि चीड़ के पेड़ से पिरुल गिरने के कारण आग लगने की संभावना और बढ़ती जा रही है।
नैनीताल जिले में लगी भीषण आग
नैनीताल के गौना रेंज के रोखड़ क्षेत्र में आग की वजह से काफी नुकसान पहुंचा। लगभग डेढ़ हेक्टेयर क्षेत्र में फैली इस आग की वजह से घास और झाड़ियां चलकर राख हो गई। वही डांडा रेंज की गौनियारों में आग बुझाने के लिए पहुंची 28 लोगों की टीम ने बमुश्किल दोपहर तीन बजे तक आग पर काबू पाया।
इसके अलावा ओखलकांडा के बड़ौन में फैली आग को बुझाने में ग्रामीणों और दमकल की टीम को लगभग 5 घंटे की कड़ी मशक्कत का सामना करना पड़ा।
खुर्पाताल में धधक उठे जंगल
नैनीताल शहर सहित ग्रामीण इलाकों में भी शुक्रवार को जंगल की आग का कहर जारी रहा। लड़ियाकांटा पाइन्स क्षेत्र में फिर आग भड़क उठने के कारण लोग कभी काफी डरे सहमे नजर आए। उधर खुर्पाताल मंगोली क्षेत्र में भी दिन भर जंगल में आग फैलती नजर आई। खुर्पाताल के मनसा देवी मंदिर और निकट के जंगल की आग से पूरे इलाके में धुआं धुआं हो उठा। पैराडाइज होटल खुर्पाताल तक फॉरेस्ट फायर पहुंचने की घटना पर फायर यूनिट नैनीताल की ओर से आग नियंत्रित करने के लिए टीम भेजी गई। यूनिट और ग्रामीणों के सहयोग मिलने पर स्थिति किसी तरह नियंत्रण में आ सकी।
कोसी घाटी में आबादी क्षेत्र तक पहुंची आग
जंगल में लगी आग से हर बार की तरह इस बार भी कुमाऊं में ज्यादा नुकसान देखने को मिला। शुक्रवार को 74.57 हेक्टेयर जंगल में आग लगने के कारण अब राज्य में कुल आंकड़ा 1085 हेक्टेयर पहुंच चुका है। जंगलों में धधक रही आग से उठ रहे धुएं के कारण कोसी घाटी भी दिन भर धुंध में लिपटी नजर आई। बेतालघाट ब्लॉक के बुधलाकोट गांव के बतखीला तोक व रामगढ़ ब्लॉक के ढोकाने क्षेत्र में लगी आग से वन संपदा जलकर राख हो गई। वहीं दूसरी तरफ बतखीला तोक में आग आवासीय मकान तक जा पहुंची। सुबह-सुबह घर से बाहर निकलने पर धुंध में घिरे क्षेत्र को देख लोग सकते में आ गए। देर रात से धधकी आग दिन चढ़ने के साथ ही विकराल होती चली गई। मौके पर पहुंचे ग्रामीण और वन विभाग के कर्मचारियों ने बामुश्किल आग को काबू कर आवासीय भवन को बचाया।