नैनीताल। श्री राम सेवक सभा के तत्वावधान में उत्तराखंड के नैनीताल में आयोजित नंदा देवी महोत्सव के अंतर्गत आज मां नंदा सुनंदा की शोभा यात्रा निकाली गई। यह यात्रा दोपहर बाद शुरू हुई।दोपहर 12 बजे नयना देवी मंदिर से निकली शोभा यात्रा मेला परिसर से कोतवाली, नगरपालिका से माल रोड से होकर तल्लीताल होते हुए निकली। शोभा यात्रा में हजारों भक्तों ने मां को विदाई दी।कहते हैं कि हिमालय पुत्री नंदा जब मायके से ससुराल को विदा होती है तो देवता भी रोने लगते हैं। यही वजह है कि शोभा यात्रा के दौरान बारिश इसी मान्यता को मजबूत बनाती है। आज भी जैसे ही मंडप में स्थापित मां नंदा सुनंदा को डोले में स्थापित किया गया और शोभा यात्रा मंदिर परिसर से बाहर पहुंची तो बारिश शुरू हो गई।
झमाझम बारिश के बारिश मां नंदा सुनंदा की शोभायात्रा में एक बार फिर भक्तों का सैलाब उमड़ पड़ा। भक्तों ने अपनी कुल देवी को नम आंखों से विदाई दी। नयना देवी मंदिर में सुबह पूजा अर्चना के बाद डोला की पहले मंदिर की परिक्रमा कराई गई, फिर उसे नगर परिक्रमा आरंभ हुई।बारिश में कीचड़ की परवाह ना करते हुई हजारों की भीड़ डोले में नंदा सुनंदा के दर्शन व उसे छू लेने को आतुर दिखी। भक्तों ने अक्षत फूल से मां से आशीष मांगा। रामनगर के कलाकारों ने शिव पार्वती, राधा कृष्ण वेश में धार्मिक गीतों पर नृत्य किया तो छोलिया कलाकारों ने पारंपरिक वाद्य यत्रो में ठुमके लगाकर लोकसंस्कृति को जीवंत किया।विरह की इस बेला में हर आंख नम है, मगर खुशी इस बात की है कि मां ही उनके जीवन में बहार लाएगी। शाम को नगर भ्रमण के बाद मूर्तियों को झील में विसर्जित किया गया। सड़कों के दोनों ओर हजारों की भीड़ डोले के इंतजार में बारिश में डटी रही।
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