उत्तराखंड में कोरोना वायरस का आंकड़ा बढ़ जरूर रहा है लेकिन रिकवरी रेट भी 80 प्रतिशत से अधिक है। संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़कर 3373 हो चुकी है जबकि 2706 लोग स्वस्थ हो चुके हैं। राहत भरी खबर नैनीताल जिले के हल्द्वानी में स्थित सुशीला तिवारी हॉस्पिटल से, जहां 30 लोगों ने कोरोना वायरस को मात दी है। एसटीएच में भर्ती 30 और रोगियों ने कोरोना को मात दी है। इसमें अल्मोड़ा के पांच, बागेश्वर का एक और नैनीताल जिले के 24 मरीज हैं। जनसंपर्क अधिकारी आलोक उप्रेती ने बताया कि इनकी उम्र नौ वर्ष से 47 वर्ष के बीच है। सभी रोगियों ने एसटीएच के डॉक्टरों व नर्सों का आभार जताया। मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सीपी भैंसोड़ा ने कहा कि एसटीएच में कोरोना संक्रमित 282 मरीज स्वस्थ होकर डिस्चार्ज किए जा चुके हैं। इस समय 115 कोरोना पॉजीटिव रोगी भर्ती हैं।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने शनिवार को सचिवालय में कोविड-19 के संक्रमण की रोकथाम तथा बचाव के लिए किये जा रहे कार्यों की वीडियों कांफ्रेंस के माध्यम से समीक्षा की। मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिये कि होम क्वारंटीन पर रखे गये लोगों की नियमित मॉनिटरिंग की जाय। इसके लिए मुख्य विकास अधिकारियों को नोडल ऑफिसर बनाया जाय। उन्होंने जिलाधिकारी नैनीताल को निर्देश दिये कि एसडीआरएफ के सहयोग से नैनीताल में 500 बैड का कोविड केयर सेंटर बनाया जाय। अभी उत्तराखण्ड रिकवरी रेट में देश में लद्दाख के बाद दूसरे नम्बर पर है। उन्होंने कहा कि कोविड पर प्रभावी नियंत्रण हेतु जिन जनपदों की सीमाएं अन्य प्रदेशों के जनपदों की सीमाओं से लगी हैं, सतर्कता के दृष्टिगत उस जनपद के प्रशासन से समन्वय रखा जाय।
मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिये दिये की मानसून के दृष्टिगत सभी व्यवस्थाएं सुचारू रखी जाय, रिस्पांस सिस्टम कम से कम किया जाय। डेंगू से बचाव हेतु सभी तैयारियां पूर्ण कर ली जाय। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड के दौरान सभी जिलाधिकारी एवं उनकी टीम अच्छा कार्य कर रहे हैं। लेकिन अभी हमको पूरी सतर्कता के साथ कार्य करने होंगे। जनता का भी सकारात्मक सहयोग मिला है।