देहरादून: 22 मार्च 2018:
गुरुवार को उत्तराखण्ड का बजट गैरसैंण विधानसभा में पेश किया गया। वित्त मंत्री प्रकाश पंत ने वर्ष 2018-19 का 45,585 करोड़ का बजट पेश किया। इस साल का बजट पिछले वर्ष से 14.08 फीसदी अधिक है। इस साल के बजट में सरकार ने रोटी,कपड़ा और किसानों के लिए विशेष रूप से जगह दी गई है। बजट के पेशी के दौरान सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत, स्पीकर प्रेमचंद अग्रवाल समेत विपक्ष के भी नेता मौजूद रहे। इस बजट के दौरान उन्होंने भाषण भी पढ़ेंगे। बता दें कि, पिछला बजट करीब 40 हजार करोड़ रुपए रुपए का था। त्रिवेंद्र सरकार अपने कार्यकाल का दूसरा बजट आज गैंरसैंण विधानसभा सत्र में पेश किया। शून्य राजस्व घाटे के अपने पहले बजट में जहां सरकार ने सत्तारूढ़ भाजपा के अगले पांच साल के विजन को ध्यान में रखा था। प्रदेश को ऑर्गेनिक और हर्बल स्टेट बनाने के लिए 1500 करोड़ का प्रावधान किया गया है।
-EVM और VVPAT के लिए 10 करोड़ की व्यवस्था की गयी है।
-भोजन माताओं की वर्दी के लिए 3 करोड़ की व्यवस्था आशा और ए एन एम के लिए दुर्घटना बीमा योजना।
-मेट्रो के लिए 86 करोड़ रूपये का प्रवधान किया गया है।
-माताओं और शिशुओं में कुपोषण रोकने के लिए 10 करोड़ 25 लाख का प्रावधान किया गया।
-प्रस्तावित इन्वेस्टर मीट के लिए 25 करोड़ का प्रवधान।
-होम स्टे योजना के लिए 15 करोड़ की धनराशि का प्रावधान।
-ग़ैरसैंण में अंतर्राष्ट्रीय संसदीय अध्ययन शोध एवं प्रशिक्षण संस्थान की होगी स्थापना।
-कुल बजट का 67 फीसदी ब्याज में होगा खर्च
-कुल बजट का 55 फीसदी होगा वेतन भत्ते में खर्च।
-राज्य में 2020 तक 5000 होम स्टे बनेंगे।
-2020 तक सभी योजनाएं DBT द्वारा लागू होंगी।