देहरादून: उत्तराखण्ड में कुछ ऐसे जिलाधिकारी है जो अपने मिलनसार व्यवहार के चलते खबरों में आ ही जाते है। उनके कार्य करने का तरीका युवाओं को पसंद आता है और उन्हें आर्दश मानते है। हरिद्वार दीपक रावत, रुद्रप्रयाग डीएम मंगेश घिल्डियाल और उत्तरकाशी डीएम आशीष चौहान के काम करने का तरीका सोशल मीडिया पर खूब वायरल होता है। लोग कहते है कि अगर राज्य के हर जिले में ऐसा डीएम हो तो सभी कुछ पटरी पर लौट सकता है। इस बार एक और डीएम ने अपनी कार्यशैली से इस दंबग लिस्ट में एंट्री ली है। हम बात कर रहे हैं टिहरी की डीएम सोनिका की। डीएम सोनिका चंबा ब्लॉक के डडूर गांव का भ्रमण कर गेहूं की फसल का जायजा लेने पहुंची। इस बीच गांव की महिलाओं को फसल काटता देख वो अपने को रोक नहीं पाई और खुद महिलाओं के साथ काम में लग गई। फसल काटने के साथ उन्होंने महिलाओं से कई विषयों की परेशानी जानी।
इसके अलावा उन्होंने गांव के प्राथमिक विद्यालय, इंटर कॉलेज, स्वास्थ्य उपकेंद्र और सरकारी गल्ले की दुकान का भी निरीक्षण किया। डीएम ने प्रधानाचार्य को विद्यालयों में बने शौचालयों में नियमित पानी की आपूर्ति और छात्रों के लिए बैठने के उचित व्यवस्था करने के भी निर्देश दिए। डीएम ने अपने भ्रमण के दौरान महिलाओं के साथ गेहूं की फसल काटी। ग्रामीणों ने डीएम के समक्ष जंगली जानवरों से फसलों को हो रहे नुकसान की समस्या बताई। साथ ही गांव में पेयजल और सड़क सुविधा की भी मांग रखी। ग्रामीणों ने डीएम को बताया कि जंगली सुअर और बंदरों ने आतंक मचा रखा है। आएदिन वो फसल को खराब करते हैं, जो उन्हें आर्थिक नुकसान पहुंचाता है। डीएम ने राजकीय इंटर कॉलेज डडूर का निरीक्षण करते हुए विद्यालय के शौचालयों में पानी की व्यवस्था करने व प्रवेश द्वार पर गेट निर्माण के भी निर्देश दिए। इस मौके पर तहसीलदार भीम सिह कठैत, सहायक भूलेखाधिकारी सुन्दर लाल लेखवार, युद्ववीर तोपवाल, शशिभूषण उनियाल, विनोद सेमल्टी, सरोजनी बहुगुणा, दिनेश उनियाल आदि मौजूद रहे।