देहरादूनः लोकसभा चुनाव 2019 में भाजपा ने 2014 का इतिहास एक बार फिर से दोहराया और बहुमत से सरकार बनाई। उत्तराखंड में लगातार दूसरी बार भाजपा ने पांचों सीटों पर कब्जा जमाया है। इस बार के चुनाव में सभी प्रत्याशियों ने अपने विपक्षी उम्मीदवार को रिकॉर्ड वोटों से मात दी है। मोदी लेहर के चलते हरिद्वार संसदीय सीट पर भाजपा प्रत्याशी पूर्व मुख्यमंत्री डा. रमेश पोखरियाल निशंक ने जीत हासिल की है। मतदान के समय से ही निशंक की जीत तय मानी जा रही थी, शुरुवात से ही वोटों की गिनती में वे आगे रहे और उन्होने दो लाख से अधिक वोटों के साथ जीत हासिल की।बता दें कि निशंक ने कांग्रेस प्रत्याशी अंबरीष कुमार को 258729 वोटों के अंतर से हराया। निशंक को 665674 और अंबरीष कुमार को 406945 वोट मिले हैं। इस बार हरिद्वार सीट पर कुल 68.92% मतदान हुआ. 2014 के चुनाव में हरिद्वार सीट पर 71.02% वोटिंग हुई थी।हरिद्वार संसदीय सीट से इस बार बीजेपी से पूर्व मुख्यमंत्री और वर्तमान सांसद डॉक्टर रमेश पोखरियाल निशंक, अंबरीश कुमार (कांग्रेस), डॉ. अंतरिक्ष सैनी(बीएसपी), त्रिबीरेंद्र सिंह रावत(उत्तराखंड क्रांति दल (डेमोक्रेटिक), नरेंद्र चौहान (भारतीय सर्वोदय पार्टी), फुरकान अली एडवोकेट (प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया), भानपाल सिंह (बहुजन मुक्ति पार्टी), रीनू (हिंदुस्तान निर्माण दल), ललित कुमार (पीपुल्स पार्टी ऑफ इंडिया), सुरेंद्र कुमार उपाध्याय (उत्तराखंड क्रांति दल) मैदान में उतरे थे।2014 में उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री डॉक्टर रमेश पोखरियाल निशंक ने जीत दर्ज की थी। उन्होंने कांग्रेस नेता हरीश रावत की पत्नी रेणुका रावत को शिकस्त दी थी। निशंक ने कांग्रेस की उम्मीदवार रेणुका रावत को 1,51,906 वोटों के अंतर से हराया था। हरीश रावत की पत्नी रेणुका को जहां 3,98,340 वोट मिले, वहीं निशंक 5,67,662 वोट लेकर संसद पहुंचने में सफल रहे। रमेश पोखरियाल का जन्म 15 जुलाई 1959 को हुआ। साल 1991 में पहली बार उत्तर प्रदेश में कर्णप्रयाग विधानसभा क्षेत्र से विधायक निर्वाचित हुए। जिसके बाद लगातार तीन बार विधायक बने। साल 1997 में उत्तर प्रदेश सरकार में कल्याण सिंह मंत्रिमंडल में पर्वतीय विकास विभाग के मंत्री बने। वर्ष 2000 में वे उत्तराखंड राज्य निर्माण के बाद प्रदेश के पहले वित्त, राजस्व, कर, पेयजल सहित 12 विभागों के मंत्री बने। वर्ष 2012 में डोईवाला (देहरादून) क्षेत्र से विधायक निर्वाचित हुए। जिसके बादवर्ष 2014 में डोईवाला से इस्तीफा देकर हरिद्वार लोकसभा क्षेत्र से सांसद निर्वाचित हुए।