देहरादूनः देवभूमि की बेटियां हमेशा से ही अपने हुनर का लोहा पूरी दुनिया में मनवाती आई हैं। एक बार फिर पहाड़ की बेटी ने कुछ ऐसा कर दिखाया है कि पूरे राज्य का सीना गर्व से चोड़ा हो गया है। जी हां हम बात कर रहें हैं, चमोली की रहने वाली शिवांगी डिमरी की। जिनको हिमाचल प्रदेश में 18 महीनों तक चली प्रशिक्षु वन अधिकारियों की ट्रेनिंग के दौरान सर्वश्रेष्ठ ट्रेनर चुना गया है।
बता दें कि लोक सेवा आयोग द्वारा प्रशिक्षु वन अधिकारियों के लिए वर्ष 2018-19 में हिमाचल प्रदेश के रेंजर ट्रेनिंग सेंटर सुंदरनगर में पिछले 18 महीनों से प्रशिक्षण कैंप का आयोजन किया गया था। इसमें उत्तराखंड के 24 प्रशिक्षुओं सहित कुल 30 प्रशिक्षुओं ने प्रशिक्षण हासिल किया। 4 सितंबर को प्रशिक्षण के दीक्षांत समारोह का आयोजन किया गया। जिसमें मुख्य अतिथि गोविंद सिंह ठाकुर ने सभी प्रशिक्षुओं को प्रशस्ति पत्र दिए। उत्तराखंड के चमोली जिले के जोशीमठ की रहने वाली शिवांगी को सर्वश्रेष्ठ ट्रेनर चुना गया। और उन्हें एक गोल्ड मैडल और दो सिल्वर मैडल से सम्मानित किया गया।
शिवांगी के लिए यह रास्ता बिल्कुल आसान नही था। उन्होंने हार ना मानते हुए अपनी कड़ी महनत से यह खिताब अपने नाम किया। और परिवार के साथ पूरे राज्य का नाम रोशन कर के दिखाया। बता दें कि इसी वर्ष अप्रैल महिने में उनके पिता की मृत्यु हो गई। और फिर मां भी बीमार हो गईं। लेकिन वो कहते है ना महनत करने वालों की कभी हार नही होती। शिवांगी ने अपने बुलंद हौसले से एक उंची उड़ान उड़ी और अपने पिता का सपना पूरा किया।