हल्द्वानी: राजकीय महिला कॉलेज में काम करने वाली महिला कर्मचारियों के लिए एक अच्छी खबर है। दरअसल उन्हें अब किसी भी जरूरी काम के लिए अपने शिशुओं को लेकर परेशान नहीं होना पड़ेगा। सीधे तौर पर बताएं तो महिला कॉलेज में शिशु गृह बनने जा रहा है। जहां शिशुओं की देखभाल हो सकेगी।
दरअसल सरकार के निर्देशों और यूजीसी के मानकों पर गौर करें तो एक बात साफ पता चलती है कि महिला कर्मियों के बच्चों के लिए महिला कॉलेज में व्यवस्था होनी चाहिए। मतलब ये है कि जिस संस्थान में 30 फीसदी या उससे अधिक महिला अधिकारी या कर्मचारी काम करते हैं, वहां शिशु गृह का होना अनिवार्य है।
यूजीसी के मानकों के तहत हल्द्वानी महामाविद्यालय में भी शिशु गृह का निर्माण कराया जा रहा था। देखा जाए तो लाजमी है कि महिला कर्मचारी को ड्यूटी पर आना जरूरी होता है। ऐसे में यदि उसका बच्चा छोटा है और घर पर ख्याल रखने वाला कोई नहीं है तो उन्हें परेशान होना पड़ता है।
ऐसे ही कार्मिकों के बच्चों की सुरक्षा और देखभाल के लिए शिशु गृह बनाया जा रहा है। गौरतलब है कि शिशु गृह में बच्चे को अल्प समय के लिए ही रखा जा सकता है। लंबे समय के लिए व्यवस्था नहीं है। बता दें कि अल्पकालिक व्यवस्था में भी शिशु गृह में महाविद्यालय में उपलब्ध संसाधन उपलब्ध कराए जाएंगे।
जानकारी के मुताबिक शिशु गृह में पानी, बिजली, शौचालय की व्यवस्था रहेगी लेकिन शिशु गृह में बच्चे की देखभाल के लिए आया या अन्य की व्यवस्था कार्मिक को खुद ही करनी पड़ेगी। माना जा रहा है कुछ ही दिनों में ये गृह तैयार हो जाएगा। लिहाजा अब महिला कार्मिकों को शिशुओं की देखभाल के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा।
हल्द्वानी महिला कॉलेज की प्राचार्य प्रो, शशि पुरोहित ने बताया कि बच्चों को शिशु गृह में रख सकते हैं लेकिन उसकी देखरेख, भोजन आदि की व्यवस्था कार्मिक को खुद ही करनी होगी। अल्प समय के लिए ही बच्चे को यहां रखा जाएगा। यहां पर पानी, बिजली व शौचालय की व्यवस्था रहेगी।