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चॉकलेट खरीदी तो मिला खाली रैपर, अब उत्तराखंड के व्यक्ति को पांच लाख रुपए देगी Cadbury कंपनी

चॉकलेट खरीदी तो मिला खाली रैपर, अब उत्तराखंड के व्यक्ति को पांच लाख रुपए देगी Cadbury कंपनी

हरिद्वार: बूढ़े हो या बच्चे, चॉकलेट का पैकेट खुलता है तो कोई भी उसे खाने से मना नहीं कर पाता। शादी, त्योहार से लेकर जन्मदिन में अलग-अलग,स्वादिष्ट चॉकलेट खाने को मिल ही जाती हैं। हम जब भी चॉकलेट्स की बात करते हैं तो दिमाग में जरूर कैडबरी डेरी मिल्क का ख़्याल आता होगा। भारत सहित 50 देशों में केडबरी की कंपनियां हैं।

विश्व भर में इस ब्रांड की चॉकलेट्स को पसंद किया जाता है। 2010 के बाद कैडबरी को दूसरा सबसे बड़ा चॉकलेट ब्रांड माना गया है। कैडबरी डेरी मिल्क के तरह तरह के विज्ञापन बहुत सी बड़ी हस्तियों को करते हुए देखा होगा। 2015 में आए विज्ञापनों की टैगलाइन “कुछ मीठा हो जाए” को बहुत प्रसिद्धि मिली। सच में किसी भी शुभ काम के लिए मीठे में लोग डेरी मिल्क खाना पसंद करने लगे।

लेकिन सबसे लोकप्रिय चॉकलेट की कंपनी पर रुद्र विहार जगजीतपुर कनखाल निवासी अरूण भदौरिया ने 5 – स्टार कैडबरी मोडलेज इंडिया फूडस प्राइवेट लिमिटेड मुंबई के खिलाफ एक शिकायत दर्ज की है। जिसके लिए कंपनी को अब 5 लाख रूपयों का भुगतान शिकायतकर्ता को करना पड़ेगा।

दरअसल शिकायत करने का कारण यह था कि अरूण भदौरिया ने 15 मार्च 2020 में एक स्थानीय दुकानदार से दस पैकेट चॉकलेट 100 रूपये में खरीदी थी। पैकेट खोलने पर उसमें से दो पैकेट खाली निकली। इस संबंध में शिकायतकर्ता ने दुकानदार से बात की तो उसने बताया की उन्हें पैकिंग वाले पैकेट ही मिलते हैं।

तब जाकर अरुण ने कंपनी के ऊपर शिकायत दर्ज करवा दी और फिर एक साल बाद हरिद्वार जिला उपभोक्ता आयोग ने चॉकलेट के पैकेट खाली निकलने के मामले में कैडबरी कंपनी को चाकलेट के दस पीस की कीमत सौ रूपये छह प्रतिशत वार्षिक ब्याज व मानसिक प्रताड़ना के एवज में पांच लाख रूपये शिकायतकर्ता को देने के आदेश दिए हैं ।

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