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उत्तराखंड शासन द्वारा दिए ऑक्सीमीटर पर जिला प्रशासन ने लगाई रोक,दे रहे गलत रिडिंग,उड़ रहा मजाक

उत्तराखंड सरकार द्वारा दिए गए ऑक्सीमीटर पर जिला प्रशासन ने लगाई रोक,दे रहे हैं गलत रिडिंग,उड़ रहा है मजाक

अल्मोड़ा: सरकार द्वारा दिए गए ऑक्सीमीटर को स्थानीय प्रशासन ने बंटने से रोक दिया। ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि इन ऑक्सीमीटर में स्वस्थ व्यक्ति को रीडिंग भी 90 से कम आ रही थी। फिलहाल इसके वितरण पर रोक लगाने के साथ सभी बंट चुके ऑक्सीमीटर भी प्रशासन ने वापस मंगाए हैं। जांच के बाद ही आगे की कार्रवाई होगी।

दरअसल यह पहली बार नहीं है जब ऑक्सीमीटर को लेकर कोई विवाद सामने आया है। इससे पहले भी कई बार यह देखा गया है कि नकली ऑक्सीमीटर किसी भी वस्तु की रीडिंग दे देता है। जिसका सोशल मीडिया पर समय समय मजाक भी उड़ाया गया है। शासन प्रशासन ने कई बार आगाह किया कि बारीकी से जांच कर ही ऑक्सीमीटर खरीदें।

बहरहाल कोरोना महामारी के इस मुश्किल समय में जिले के तमाम विधायकों ने जनता को खुद के स्वास्थ्य परीक्षण के लिए ऑक्सीमीटर देने का प्लान बनाया था। 4000 ऑक्सीमीटर खरीदने के लिए 22.40 लाख रुपए रुपए विधायक निधि से जारी किए गए थे। जिन्हें देहरादून की एक फर्म ने उपलब्ध भी करा दिया था। बता दें एक ऑक्सीमीटर की कीमत 560 रुपए है।

स्वास्थ्य विभाग और जनप्रतिनिधियों ने आशा कार्यकर्ताओं को ऑक्सीमीटर का वितरण शुरू कर दिया था, लेकिन ये ऑक्सीमीटर शिकायत के घेरे में आ गए। हुआ यह कि यह ऑक्सीमीटर गलत रीडिंग देने लग गए। एक दम स्वस्थ लोगों के ऑक्सीजन केवल को जब इसमें 90 से भी काम दिखाया गया तो हड़कंप मच गया।

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इधर द्वाराहाट और चौखुटिया तहसील क्षेत्रों में विधायक निधि से 750 ऑक्सीमीटर वितरित किए जाने थे। मगर बुधवार को वितरण से पहले चौखुटिया ब्लॉक के बीडीओ हर्ष सिंह अधिकारी और अन्य स्टाफ ने अपना ऑक्सीजन स्तर जांचा तो सभी की रीडिंग 88 और उससे कम निकलीं। 90 से नीचे की रीडिंग दिखाने पर वहां हड़कंप मच गया।

यह बाद में पता चला कि मशीन की खराबी के चलते ही गलत रीडिंग दिख रही है। ऐसी ही शिकायतें द्वाराहाट क्षेत्र से भी मिलीं। शिकायत मिलने के बाद स्वास्थ्य विभाग और मुख्य विकास अधिकारी कार्यालय ने ऑक्सीमीटर वापस मंगा लिए हैं। अब बृहस्पतिवार को इनका परीक्षण कराया जाएगा। गुणवत्ता में कमी पाए जाने पर संबंधित सप्लायर को ब्लैक लिस्ट करने के साथ उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज होगी।

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द्वाराहाट के विधायक महेश नेगी ने कहा है कि खरीदारी सीडीओ के माध्यम से हुई है, लिहाजा इसकी पूरी जिम्मेदारी सीडीओ की है। यह भी कहा जा रहा है कि ये ऑक्सीमीटर चीन निर्मित हैं। अल्मोड़ा के मुख्य विकास अधिकारी नवनीत पांडे ने कहा कि गलत रीडिंग की शिकायत मिलने पर ऑक्सीमीटर के वितरण पर रोक लगा दी गई है। बांटे जा चुके ऑक्सीमीटर भी वापस मंगाए गए हैं। सभी की जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने बताया कि अब तक फर्म को भुगतान नहीं किया है।

इधर अल्मोड़ा की मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. सविता ह्यांकी ने बताया कि विधायक निधि से जिले भर में हर आशा कार्यकर्ता को क्षेत्र के लिए चार-चार ऑक्सीमीटर बांटे जाने हैं। ऑक्सीमीटर की रीडिंग गलत आने की शिकायत मिली है। सीडीओ कार्यालय से रीडिंग की शिकायत के बाद वितरण पर रोक लगा दी गई है।

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