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उत्तराखण्ड को मिलेगी सौगात , 22 वीं गढ़वाल राइफल की स्थापना की जाएगी

देहरादून : गढ़वाल राइफल्स की एक और नई बटालियन जल्द ही अस्तित्व में आ जाएगी। उप सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल शरथ चंद्र ने बताया कि आगामी एक अप्रैल को गढ़वाल राइफल की एक और पलटन यानी 22वीं गढ़वाल राइफल की स्थापना की जाएगी।

रविवार को देहकादून में आयोजित एक कार्यक्रम में उप सेना प्रमुख ने कहा कि उत्तराखंड की गौरवशाली सैन्य परंपरा को देखते हुए यहां सेना का कोटा बढ़ाने का निर्णय लिया गया है। इसके लिए गढ़वाल राइफल्स की अलग बटालियन बनाई जा रही है। उन्होंने कहा कि राज्यों के हिसाब से कई बार इस तरह की आपत्तियां भी आती रही हैं कि उत्तराखंड में सेना को बहुत अधिक कोटा दिया जा रहा है। लेकिन इस राज्य की गौरवशाली सैन्य परंपरा व युवाओं के लिए अन्य क्षेत्रों में नौकरियों के अवसर कम होने की वजह से सेना ने इन आपत्तियों को दरकिनार किया है।

उन्होंने बताया कि डांडा लखौंड में सैनिकों के बच्चों के लिए बन रहा हॉस्टल आगामी शिक्षा सत्र तक तैयार हो जाएगा। उन्होंने बताया कि गढ़वाल राइफल्स के सैनिकों के लिए कोटद्वार में अलग क्वार्टर बनाए जा रहे हैं। इनमें जेसीओ के लिए 24 और जवानों के लिए 108 क्वार्टर बनेंगे। जिन्हें बढ़ाकर 250 तक ले जाने का प्रस्ताव है। कोटद्वार में भूमि उपलब्ध होते ही केंद्रीय विद्यालय भी खोला जाएगा। वहीं लैंसडौन स्थित गढ़वाल रेजीमेंटल सेंटर के 135 पुराने प्रशासनिक भवन को नए स्वरूप में लाया जा रहा है।

उप सेना प्रमुख ने बताया कि श्रीनगर व थराली में सीएसडी कैंटीन खोल दी गई है। इसके अलावा भूमि उपलब्ध होने पर डोईवाला में भी कैंटीन खोली जाएगी। उन्होंने कहा कि पूर्व सैनिकों की समस्याओं के समाधान के लिए सेना द्वारा राज्य में वर्ष 2011 से सतत मिलाप कार्यक्रम चलाया जा रहा है। इसके तहत पिछले पांच साल में 41 हजार 536 पूर्व सैनिकों से संपर्क साधा गया। 36 हजार से अधिक समस्याओं का समाधान किया जा चुका है और वह पूर्व सैनिकों की समस्याओं को निदान करने के लिए पुरी तरह तत्पर हैं ।

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