रामनगरः राजाजी टाइगर रिजर्व के वेस्टर्न पार्ट में अब कॉर्बेट से पांच बाघों को भेजने की तैयारी की जा रही है। इसके लिए राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) से भी अनुमति मिल चुकी है। और इस साल के अंत तक बाघों को राजाजी टाइगर रिजर्व में भेजा जाएगा।
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बता दें कि गंगा नदी राजाजी टाइगर रिजर्व के इस्टर्न और वेस्टर्न पार्ट को विभाजित करती है। इसके वजह से मोतीचूर के इस क्षेत्र में अन्य हिस्सों से बाघों की आवाजाही नहीं हो पाती है।इसके वजह से मोतीचूर क्षेत्र में रह रही दो बाघिनों के अस्तित्व पर भी संकट मंडरा रहा है। इसे देखते हुए कॉर्बेट लैंडस्केप से यहां पांच बाघों को लाने की योजना बनाई जा रही है। एनटीसीए ने पिछले साल इसके लिए 50 लाख रुपये जारी किए थे। इस साल एनटीसीए ने फिर 40 लाख जारी कर दिए हैं।
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अक्तूबर महीने से पहले एक बाघ को राजाजी टाइगर रिजर्व शिफ्ट कर दिया जाएगा। अगर यह प्रयोग सफल रहता है तो शेष चार बाघ बाघों को भी शिफ्ट कर दिया जाएग। सीटीआर निदेशक राहुल का कहना है कि राजाजी टाइगर रिजर्व के वेस्टर्न पार्ट में पांच बाघों को भेजा जाना है। एनटीसीए की ओर से अनुमति मिली है। मानसून के बाद यहां से पांच बाघ वहां के लिए भेजे जाएंगे।
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