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उत्तराखंड: रोडवेज ने टिकट मशीन से हटाया सांसद-विधायक का वर्ग, छात्राओं को फिर से मिलेगी फ्री यात्रा

हल्द्वानी: उत्तराखंड रोडवेज में पूर्व में मुफ्त यात्रा के नाम पर कई बार कर्मचारियों द्वारा किए गए टिकट घोटाले सामने आए हैं। जिन्हें ले कर अब मुख्यालय ने बसों में यातायात के चंद नियमों में संशोधन किए हैं। रोडवेज मुख्यालय ने अपनी टिकट मशीन से कुछ श्रेणियां हटा दी है, जिनमें से मुख्य हैं सांसद, विधायक और पूर्व विधायक की श्रेणी। बता दें कि पहले टिकट मशीन में जन कल्याण हेतु बसों में मुफ्त यात्रा के लिए 9 श्रेणियां बनाई गई थी, जिसे अब 9 तक सीमित कर दिया है। इसके अलावा कोरोना में हटाई गई छात्राओं की मुफ्त श्रेणी को वापिस जोड़ लिया गया है। सभी परिचालकों को संबंधित आदेश दे दिए गए हैं।

यह फैसला लेने का मुख्य कारण टिकट मशीनों के पीछे हुए पिछले समय में हुए घपले रहे हैं। सांसद और विधायक रोडवेज की बसों में आए दिन यात्रा नहीं करते। ऐसे में दो साल पहले इनकी यात्रा के नाम पर रोडवेज के रुड़की, देहरादून, हरिद्वार, हल्द्वानी आदि डिपो ने लाखों रुपये के बिल बना दिए थे। जिसके चलते 35 परिचालकों को दरख्वास्त किया गया जबकि कहीं कहीं पर मशीन की गलती भी पाई गई। इसके अलावा परिचालकों से भी मशीन चलाने में चूक हुई।

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अभी कुछ समय पहले ही मुफ्त यात्रा की श्रेणी के क्रमांक में बदलाव किया गया था जिसमें विधायक की श्रेणी का बदलाव भी शामिल था। गड़बड़ यह हुई कि कई परिचालकों ने पुराने क्रमांक पर ही टिकट दर्ज कर दिया, जो कि विधायक या सांसद का क्रमांक था। इसके अलावा कुछ परिचालकों ने जान बूझ कर भी गलत प्रविष्टियां मशीन में दर्ज की थी।

टिकट मशीन के घपलों को देखते हुए रोडवेज मुख्यालय ने टिकट सॉफ्वेयर में बदलाव की तैयारी शुरू कर दी थी। मगर इस साल बीच में कोरोना काल के आने से यह तैयारी बंद हो गई थी, लेकिन अब रोडवेज मुख्यालय ने अपने सॉफ्टवेयर और टिकट मशीन में बदलाव कर दिए हैं। इसमें ऐसी सभी श्रेणी हटा दी गई हैं, जिनमें यात्रा की संभावना नामुमकिन रहती है। इन श्रेणी के लिए नई व्यवस्था की गई है।

रोडवेज में सांसद, विधायक या उनके सहयात्री के लिए मुफ्त यात्रा के नियम को बिल्कुल खत्म नहीं किया गया है। अगर ऐसा कोई यात्रा करता है तो उसकी मौजूदगी टिकट मशीन के बदले प्रपत्र में दर्ज कराई जाएगी। इसके अलावा पहले मशीन में पहचान पत्र दर्ज कराने के लिए केवल 9 अंकों की ही लिमिट थी, जिसकी वजह से 12 अंकों के आधार कार्ड नंबर की मशीन में दर्ज करना मुमकिन नहीं होगा था। अब इस संख्या को 15 तक कर दिया है।

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बदलाव के बाद टिकट मशीन में मुफ्त यात्रा की श्रेणी में अब नौ वर्ग शामिल हैं। जिनमें छात्राएं, सौ फीसद दिव्यांग व एक सहवर्ती, अन्य दिव्यांग, मान्यता प्राप्त जिला स्तरीय पत्रकार, मान्यता प्राप्त प्रदेश स्तरीय पत्रकार, वरिष्ठ नागरिक, मासिक पास, राज्य आंदोलनकारी, राज्य आंदोलनकारी की विधवा आदि वर्ग शामिल हैं। इसके साथ ही सांसद, विधायक, पूर्व विधायक, सांसद के एक सहयात्री, विधायक के एक सहयात्री, पूर्व विधायक के एक सहयात्री, स्वतंत्रता संग्राम सेनानी, आदि वर्गों की श्रेणी को टिकट मशीन से हटा दिया गया है।

रोडवेज महाप्रबंधक दीपक जैन ने जानकारी दी और कहा कि सांसद, विधायक या फिर पूर्व विधायक बस में यात्रा कम ही करते हैं। ऐसे में टिकट मशीन में दर्ज मुफ्त यात्रा की श्रेणी से इनकी श्रेणी हटा दी गई है। उन्होंने बताया कि अगर यह यात्रा करेंगे तो उसी समय मार्ग-प्रपत्र में प्रविष्टि दर्ज कर दी जाएगी।

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